कार्यालय संवाददाता— ठियोग
पर्यटन कारोबार मंदी की मार से अभी पिछले साल की भरपाई भी नहीं कर पाया था कि फिर से इस वैश्विक महामारी ने पर्यटन कारोबार ठप कर दिसा है। इस साल दोबारा से पूरे देश व विदेशों में फैले कोरोना वायरस के कारण पिछले दो महीने से जहां प्रतिदिन विभिन्न उद्योगों को करोड़ों का नुकसान हो रहा है। वहीं दूसरी ओर प्रर्यटन व्यवसाय भी इससे खासा प्रभावित हुआ है। एक अनुमान के मुताबिक, केवल कुफरी व नारकंडा में ही 200 करोड़ से अधिक का नुकसान प्रर्यटन व्यवसाय को हो चुका है। यदि आने वाले दिनों में भी यही हालात रहते हैं, तो इससे काफी नुकसान झेलने पड़ सकते हैं। ठियोग के पास बने पांच सितारा ताज होटल में ही प्रतिदिन के हिसाब से लाखों का नुकसान हो रहा है, जहां पर विदेशी सैलानी अधिक आते थे। इस बार कुफरी, छराबड़ा नारकंडा के पर्यटन व्यवसायियों को जहां विंटर सीजन के अलावा समर सीजन में अच्छे कारोबार की आस थी, पर कोरोना वायरस ने सभी की उम्मीदों पर पानी फेर दिया है।
पिछले करीब दो महीने से इलाके में सभी कारोबारियों ने अपने-अपने होटल-रेस्तरां में ताले लगा लिए हैं। विश्व प्रसिद्ध प्रर्यटक स्थल कुफरी, नारकंडा में इस कारण हजारों युवाओं का रोजगार भी ठप पड़ गया है और सभी को अपने-अपने घरों के लिए वापस जाना पड़ रहा है। यहां पर घोड़ा कारोबारी के अलावा टेक्री चालक, टूरिस्ट गाइड, ढाबे व टेलीस्कोप वाले शामिल हैं। वहीं, दर्जनों होटल कारोबारी होम स्टे के अलावा छोटे कारोबारी लॉकडाउन के कारण प्रभावित हुए हैं। कारोबार बंद होने के कारण इनके पास कोई दूसरे साधन न होने के कारण अपनी व अपने परिवार का पालन पोषण कर पाना बेहद मुश्किल साबित हो रहा है। अकेले कुफरी, छराबड़ा, फागू, गलू, महासू, पीक फनवर्ड में 1300 घोड़े हैं, जबकि 400 के करीब टैक्सी वाले हैं। 200 के करीब अस्थायी ढाबा संचालक सहित 50 से अधिक टेलिस्कोप वाले और 125 के करीब टूरिस्ट गाइड काम रहे हैं। इसमें अधिकतर ऐसे कारोबारी हैं, जिनके पास कमाई का यही साधन है। इनका कारोबार ठप होने के कारण काफी अधिक नुकसान इन्हें झेलना पड़ रहा है। इस समय कुफरी, फागू, गलू, छराबड़ा से लेकर ठियोग के आसपास के इलाके के साथ देवीमोड़ संधू शिलारू कंडयाली एकांतबाड़ी नारकंडा में दर्जनों होटल हैं। इनका व्यवसाय सिर्फ सैलानियों पर टिका है। इनमें हजारों की संख्या में युवा काम करते हैं, जिनमें कुछेक स्थानीय होने के साथ-साथ बाहरी राज्यों से भी युवाओं को रोजगार मिला है, लेकिन व्यवासाय बंद होने से सभी बेरोजगार हैं।
यही हाल रहा, तो छह महीने मंदी के आसार
इस दौरान होटल व्यवसायियों में गलू फन कैंपस के एमडी बलदेव ठाकुर, ताज व्यू के मालिक संजीव भंडारी, होम स्टे चला रहे संदीप वर्मा, राकेश वर्मा, शिमला हिल्स इंटरनेशनल के एमडी प्रेम वर्मा, डी एग्जिटिका के एमडी दिपांशु गौतम, होटल सोलिटीयर के एमडी बजृ भारद्वाज ने बताया है कि कोरोना वायरस के दोबारा से तेजी से फैलने के कारण पर्यटन व्यवसाय से जुड़े कारोबारियों को लाखों का नुकसान झेलना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले साल भी ऐसा ही हुआ था और इस साल फिर से वही स्थिति पैदा हो गई है। कोरोना वायरस के कारण पूरे देश-विदेश से सैलानी रुक गए हैं, जिससे कि कारोबार ठप हो गया है। उनका कहना है कि यदि देश में यही हालात रहे तो आने वाले छह महीने तक उन्हें मंदी की मार से कोई नहीं बचा सकता।
कोरोना ने काटे पर्यटन व्यवसाय के पंख, छीना युवाओं का रोजगार - Divya Himachal
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